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वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) एक कुशल कर प्रणाली है, जो न सिर्फ कर चोरी को रोकेगा -अरुण जेटली


ABSLM  29-05-2017 लक्ष्मण सिंह स्वतंत्र 


नैशनल एकेडमी ऑफ कस्टम, इनडायरेक्ट टैक्स एंड नारकोटिक्स (एनएसीआईएन) के बेंगलुरु परिसर के उद्घाटन अवसर पर केन्द्रीय वित्त मंत्री श्री अरुण जेटली ने कहा कि अप्रत्यक्ष कर निर्धारण व्यवस्था देश में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। उन्होंने कहा कि एकाधिक कर प्रणाली का स्थान वस्तु एवं सेवा कर ने ले लिया है, जिसके अंतर्गत सभी करों को एक ही प्रकार की कर व्यवस्था में शामिल कर दिया गया है। वित्त मंत्री ने आगे कहा कि जीएसटी 01 जुलाई 2017 से प्रभाव में आएगा। जीएसटी एक कुशल कर प्रणाली है, जो न सिर्फ कर चोरी को रोकेगा बल्कि भारत को एक मज़बूत समाज बनने में मदद भी करेगा। वित्त मंत्री ने कहा कि अप्रत्यक्ष कर संघीय भारत की एक सोच है। उन्होंने कहा कि केन्द्र एवं राज्य दोनों मिल जुलकर संयुक्त रूप से इस दिशा में कार्य कर रहे हैं। केन्द्र एवं राज्यों के कर प्राधिकरणों के बीच आपसी सहयोग अत्यंत महत्वपूर्ण है। बेंगलुरु में कर प्रशिक्षण अकादमी (एनएसीआईएन) के परिसर की स्थापना की गई है, जो केन्द्र एवं राज्य सरकार के अलावा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के अधिकारियों को प्रशिक्षित करने में अहम भूमिका अदा करेगी।
इस अवसर पर सीबीईसी की अध्यक्षा श्रीमती वनजा एन. सरना, एनएसीआईएन के प्रधान महानिदेशक श्री डी.पी. नगेन्द्र कुमार, सीबीआईसी के सदस्य (प्रशासन) श्री एस. रमेश और एनएसीआईए के अतिरिक्त महानिदेशक श्री पी.के दास मौजूद थे।

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